नाचूं राधा-मोहन आगे- ब्रज के भजन पद नाचूं राधा-मोहन आगे- ब्रज के भजन पदनाचूं राधा-मोहन आगे नये नये दृगन के भाव बताऊँ। यमन भैरवी राग केदारा झीनी स्वर सँ गाय सनाऊँ। निरखि निरखि छबि युगल माधुरी नयनन नेह जलधार बहाऊँ।श्रीवृन्दावन बास निरन्तर 'ललितलडैती' यह वर पाऊँ।। सभी पदों की सूची देखने के लिए क्लिक करें Bhagwat Kathanak Katha Hindibraj ke pad नाचूं राधा-मोहन आगे- ब्रज के भजन पद Share this post