F पायो जी म्हैं तो राम रतन धन पायो payo ji maine ram ratan - bhagwat kathanak
पायो जी म्हैं तो राम रतन धन पायो payo ji maine ram ratan

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पायो जी म्हैं तो राम रतन धन पायो payo ji maine ram ratan

पायो जी म्हैं तो राम रतन धन पायो payo ji maine ram ratan

 पायो जी म्हैं तो राम रतन धन पायो payo ji maine ram ratan 

पायो जी म्हैं तो राम रतन धन पायो payo ji maine ram ratan

पायो जी म्हैं तो राम रतन धन पायो। 
वस्तु अमोलक दी म्हारे सतगुरु, किरपा कर अपनायो।। १ 
जनम जनम की पूँजी पाई, जग में सभी खोवायो। 
खरचै नहिं कोई चोर न लेवै, दिन दिन बढ़त सवायो।। २ 
सत की नाव खेवटिया सतगुरु भवसागर तें तर आयो। 
'मीरा' के प्रभु गिरधर नागर हरख हरख जस गायो।। ३

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Bhagwat Kathanak            Katha Hindi
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 पायो जी म्हैं तो राम रतन धन पायो payo ji maine ram ratan 


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