ये दारागार पुत्राप्तान् /Yē dārāgār putrāptān
ये दारागार पुत्राप्तान् प्राणान् वित्तमिमं परम्।
हित्वा मां शरणं याता: कथं तांस्त्यक्तु मुत्सहे।। ९/४/६५
जो भक्त मेरे लिए अपनी स्त्री घर पुत्र और धन का त्याग कर दिया है | उनका त्याग में कैसे कर सकता हूं |
ये दारागार पुत्राप्तान् /Yē dārāgār putrāptān
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